किसी कर्मचारी का तनाव उसकी सेहत, कार्यक्षमता और व्यवहार पर बुरा असर
डालता है। इसीलिए संगठन या व्यक्तिगत स्तर पर तनाव का सही प्रबंधन ज़रूरी
है।
संगठन स्तर पर तनाव प्रबंधन
फिट रहने के लिए व्यायाम करें, ताकि काम के दबाव से दिमाग हटे। आप टेनिस बैंडमिंटन या कोई और खेल भी खेल सकते हैं।
आशावादी रहें। निगेटिव सोच वाले कर्मचारियों से दूरी बनाएं।
कार्यस्थल पर खुद को सचेत रखें। आत्मविश्वास और खुद पर नियंत्रण रखें।
सहकर्मियों से अच्छे संबंध बनाएं, जिससे ज़रूरत पढ़ने पर मदद मिल सके।
काऊंसलर से मिलें, ताकि आपको अपनी ताकत और कमजोरियां पता चलें। काऊंसलिंग आपके करियर के लिए भी फायदेमंद हो सकती है।
लोगों से मिलें। खुद में सीमित ना रहें। दूसरों की मदद करें, इससे भी तनाव कम होता है।
संगठन स्तर पर तनाव प्रबंधन
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संस्था में आपसी संपर्क को बढावा मिले जिससे व्यर्थ तनाव पैदा ना हो।
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मैनेजर ऐसे संकेत और भाषा का इस्तेमाल करें, जिसे कर्मचारियों गलत ना समझें।
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फैसलों में कर्मचारियों की भागीदारी बढ़े।
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कर्मचारियों को ज़्यादा आज़ादी और ज़िम्मेदारी मिले।
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कर्मचारियों को सही और वक्त पर फीडबैक मिले।
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कर्मचारियों को ऐसे लक्ष्य मिलें, जो वे पूरे कर सकें।
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विकेन्द्रीकरण को बढ़ावा मिले।
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वेतन और इन्सेन्टिव का सही बंटवारा हो।
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कार्यस्थल का माहौल सुरक्षित हो।
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लक्ष्य प्राप्त करने वाले कर्मचारियों का हौंसला बढ़ाना चाहिए।
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कार्य में बदलाव और समृद्धि को बढ़ावा मिलना चाहिए।
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सही कार्य और विभाग के लिए सही कर्मचारियों की भर्ती हो।
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प्राथमिकता के अनुसार लिस्ट बनाकर कार्य करें। बीच में आराम के लिए ब्रेक लें।
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मेहनत करें, लेकिन अपने स्वास्थ्य और परिवार की कीमत पर नहीं।
फिट रहने के लिए व्यायाम करें, ताकि काम के दबाव से दिमाग हटे। आप टेनिस बैंडमिंटन या कोई और खेल भी खेल सकते हैं।
आशावादी रहें। निगेटिव सोच वाले कर्मचारियों से दूरी बनाएं।
कार्यस्थल पर खुद को सचेत रखें। आत्मविश्वास और खुद पर नियंत्रण रखें।
सहकर्मियों से अच्छे संबंध बनाएं, जिससे ज़रूरत पढ़ने पर मदद मिल सके।
काऊंसलर से मिलें, ताकि आपको अपनी ताकत और कमजोरियां पता चलें। काऊंसलिंग आपके करियर के लिए भी फायदेमंद हो सकती है।
लोगों से मिलें। खुद में सीमित ना रहें। दूसरों की मदद करें, इससे भी तनाव कम होता है।
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